सफेद हाथी साबित हुआ लाखों की लागत से बना ऑडियोमेट्री साउंड प्रूफ रुम
बदायूं।जिला अस्पताल में हर सोमवार को विकलांगता प्रमाण पत्र बनाए जाते है। वैसे तो सोमवार से लेकर शनिवार तक ओपीडी में मरीज अधिक संख्या में आते है तो ऐसे में ईएनटी सर्जन को परेशानी का सामना करना पड़ता है।मगर ओपीडी के समय ऑडियोलॉजिस्ट अपने रुम में नहीं बैठती है। जब मरीज जाते है तो गायब मिलती है गुरुवार को उझानी की एक महिला अपने पति को लेकर ऑडियोमेट्री कराने के लिए आई थी। उसने पहले राजकीय मेडिकल कालेज में अपने पति की जांच कराई थी। वहां से चिकित्सकों ने ऑडियोमेट्री के लिए जिला अस्पताल रेफर कर दिया। जब वह ओपीडी के 14 नंबर कमरे में पहुंची तो पता चला कि ऑडियोलॉजिस्ट 17 नंबर कमरे में बैठती है जब वह वहां पहुंची तो उसने देखा कि वह वहां से गायब थी। फिर वह अपने पति को लेकर सीएमएस के कमरे में पहुंची कहा कि मुझे अपने पति की कानों की ध्वनि की जांच करानी है। तो फिर सीएमएस ने ऑडियोलॉजिस्ट रेशू गुप्ता को फोन किया तो कहा तुम कहां हो उन्होंने कहा कि सर मैं 1 बजे तक आऊंगी। मरीज ने सीएमएस के कमरे में बैठ कर एक घंटे तक इंतजार किया। उसके बाद वह पहुंची जबकि ओपीडी का समय 8 से 2 बजे तक रहता है।तो ऑडियोलॉजिस्ट ओपीडी में 1 बजे क्यों आती है।सवाल यह है कि कई कई दिन ऐसे कर्मचारियों गैर हाजिर रहते तो इनका वेतन कैसे निलकता है। इस बात को लेकर स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी अपना पल्ला झाड़ लेते है। इस संबंध में सीएमओ डॉ प्रदीप वार्ष्णेय से फोन से संपर्क किया गया तो फोन नही लगा।