बदायूं। उजिला महिला अस्पताल में रिश्वतखोर स्टाफ नर्स प्रभारी तारिक अस्पताल के जहां कपड़े धुलते है (लांड्री)वहां अपना आवास बना रखा है जहां शाम को संबंधित स्टाफ लगाता है हाजिरी कोई मिठाई तो कोई नाश्ता कोई कोल्डड्रिंक पहुंचाता है।स्टाफ कहता है और सर क्या लाऊ जबकि डीएम ने आदेश किया था लांड्री में कोई कर्मचारी नहीं रहेगा उसके बावजूद भी रिश्वतखोर कर्मचारी लांड्री में आवास बना कर रह रहा है। गैर प्रान्त से नौकरी करने आया वह अपने लिए बाहुबली बताता है।कस्बा उझानी के एक व्यक्ति ने एक वर्ष पूर्व अपनी पत्नी की डिलीवरी कराई थी।जिसमें तारिक नर्सिंग स्टाफ ने जन्म प्रमाण पत्र के नाम पर 600 रुपये लिए थे। इसकी  शिकायत तत्कालीन सीएमएस से की थी।अब मुख्यमंत्री पोर्टल पर भी शिकायत की है। फिर भी ऐसे भ्रष्ट कर्मचारियों पर स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी कार्रवाई नहीं कर रहे हैं। रिश्वतखोर भी वही है अस्पताल भी वही है अधिकारी बता रहे हैं पुराना वीडियो फिर भी जांच कमेटी अभी तक नहीं बनाई है।जांच होते ही रिश्वतखोर कर्मचारियों पोल खुल जाएगी।यह गोरखधंधा लबें समय से चल रहा है ऐसी कई गर्भवती महिलाएं हैं जिनसे रुपए वसूले गए हैं। गर्भवती महिलाओं के तीमारदारों ने बताया की यह स्टाफ मरीजों के साथ दुर्व्यवहार भी करता है। शिकायत करने वाली महिलाओं के नाम साजिया पत्नी जुबैर मोहल्ला मीरा सराय,इरम पत्नी शाकिर नाहर खा सराय,साहिला पत्नी कमील सहसवान ,सर्वेश पत्नी राकेश गांव गुरपुरी विनायक आदि है।शिकायकर्ता का आरोप था कि ऑपरेशन के बाद डॉक्टर कमर में बेल्ट बांधने की सलाह देते हैं उस बेल्ट को महिला अस्पताल में तारिक 250 रुपये में बेचा रहा था हैं जबकि यह मेडिकल पर 80 रुपये की मिलती हैं। शिकायत के बाद इसकी दुकान बंद हुई थी। और इसे पीएनसी वार्ड में भेजा गया था। फिर वहां भी रिश्वत लेना शुरू कर दिया इसका वीडियो तेजी से वायरल हो रहा है।अगर सभी महिलाओं के घर जा कर इसकी जांच होती तो और कई कर्मचारी फसेंगे।जिला महिला अस्पताल में सीएमएस की सरपरस्ती में नर्सिंग स्टाफ प्रभारी तारिक वार्ड स्टाफ जैसे मलाई खा रहे है।वीडियो में प्रभारी साथ में बैठा स्टाफ रुपए लेता साफ नजर आ रहा है।रिश्वत के वीडियो पर स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी नही कर रहे कार्रवाई जबकि प्रभारी के इशारे पर  अवैध वसूली हो रही हैं। रिश्वत के वीडियो को देख कर एडी हेल्थ ने अभी कोई कार्रवाई नही की है।ऐसे भ्रष्ट कर्मचारियों पर  कार्रवाई करने से अधिकारी  भी डर रहे है।