देश के भविष्य के निर्माता होते हैं शिक्षक – पांडेय।

अट्ठरह राज्यों के 111 शिक्षकों को किया सम्मानित।

अष्टम् पुण्यतिथि के अवसर पर स्व संत पाल सिंह राठौड़ का भावपूर्ण स्मरण।

नवीगंज स्थित समाधि स्थल पर संत पाल सिंह राठौड़ के परिजनों ने वृक्षारोपण व पुष्पर्चन कर दी श्रद्धांजली।

बदायूँ। जन दृष्टि (व्यवस्था सुधार मिशन) के प्रेरणा पुंज आदर्श शिक्षक स्व संत पाल सिंह राठौड़ की अष्टम् पुण्यतिथि के अवसर पर उनके पैतृक गांव नवीगंज में स्थित परिजनों व ग्राम वासियों द्वारा समाधि स्थल पर पुष्प अर्पित कर श्रद्धांजलि अर्पित की गई साथ ही उनकी स्मृति में देश भर में उनके अनुयायियों द्वारा, संगठन के कार्यकर्ताओं, सहयोगियों, पदाधिकारियों व देश भर के उत्क्रष्ट शिक्षकों द्वारा वृक्षारोपण कर उनके संरक्षण का संकल्प लिया गया।

इस अवसर पर गत वर्षों की भांति सम्मान समारोह का आयोजन प्रभाशंकर मेमोरियल स्काउट भवन बदायूं मे प्रख्यात शिक्षाविद राम बहादुर पाण्डेय की अध्यक्षता में किया गया। सम्मान समारोह में मुख्य अतिथि के रुप में विधायक दातागंज राजीव कुमार सिंह “बब्बू भईया ” उपस्थित रहे। विशिष्ट अतिथि के रूप में चेयरमेन बदायूं दीपमाला गोयल, डॉ राकेश कुमार जायसवाल उपस्थित रहे।

समारोह में भारतीय हिंदी सेवी सम्मान, नारी शक्ति सम्मान, प्रकृति प्रहरी सम्मान एवं भारत के अट्ठाराह राज्यों के 111 उत्क्रष्ट शिक्षकों को सम्मनित किया गया।

सर्वप्रथम अतिथिगण द्वारा पौधरोपण किया गया तत्पश्चात स्व संत पाल सिंह राठौड़ के चित्र पर माल्यार्पण किया गया। कार्यक्रम का फेसबुक व यूटयूब पर सीधा प्रसारण किया गया।

मुख्य अतिथि के रुप में विचार व्यक्त करते हुए विधायक दातागंज राजीव कुमार सिंह ” बब्बू भईया ” ने कहा कि उत्क्रष्ट शिक्षकों के सम्मान का आयोजन एक सराहनीय पहल है। इस आयोजन से जुड़े संगठन के समस्त पदाधिकारी प्रशंसा के पात्र हैं। संत पाल सिंह राठौड़ स्मृति आदर्श शिक्षक सम्मान 2022 प्राप्त करने वाले सभी शिक्षक बधाई के पात्र हैं।

आशा है कि सभी सम्मान प्राप्त करने वाले शिक्षक देश को विश्व गुरु बनाने हेतु निरंतर नवीन ऊर्जा के साथ कार्य करते रहेगें। शिक्षक, साहित्यकार और सामाजिक कार्यकर्ता भारत को विश्व गुरु बनाने में सहायक होगे। देश और समाज में सर्वाधिक आदर और सम्मान का पात्र शिक्षक होता है। शिक्षक को इस देश में राष्ट्रपति बनने का गौरव प्राप्त हुआ है, वहीं पूर्व राष्ट्रपति डॉ ए पी जे कलाम ने कार्यकाल पूरा करने के पश्चात शिक्षक की भूमिका में आना अपना सौभाग्य समझा। शिक्षक राष्ट्र निर्माता होते हैं। उत्क्रष्ट शिक्षकों के सम्मानित होने से निश्चित रूप से युवा शिक्षक प्रेरणा प्राप्त करेगे।

अध्यक्षीय उद्बोधन में राम बहादुर पांडेय ने कहा कि संत पाल सिंह राठौड़ एक आदर्श शिक्षक रहे हैं, उनकी स्मृति में आयोजित होने वाला यह समारोह प्रतिष्ठा प्राप्त करने के साथ ही वृहद स्वरूप ले चुका है। आज जन दृष्टि व्यवस्था सुधार मिशन के तत्वावधान में देश और दुनिया के 111 चयनित शिक्षकों को संत पाल सिंह राठौड़ स्मृति उत्क्रष्ट शिक्षक सम्मान 2022 प्रदान किया गया है। ऐसे आयोजन सामाजिक परिवर्तन मे महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।

कार्यक्रम आयोजक व जन दृष्टि (व्यवस्था सुधार मिशन) के संस्थापक अध्यक्ष हरि प्रताप सिंह राठौड़ एडवोकेट ने संगठन व आयोजन के उद्देश्य पर विस्तार से प्रकाश डाला।

कार्यक्रम में प्रमुख रूप से आचार्य प्रताप सिंह, पल्लवी भारद्वाज, प्रवीण कुमार, मनीष प्रेम, राणा प्रताप सिंह, एम एल गुप्ता, रामगोपाल, एम एच कादरी, वेदपाल सिंह, अखिलेश चौहान, भवेश प्रताप सिंह, हरि प्रकाश सिंह, अमर प्रताप सिंह, आर्येंद्र पाल सिंह, सतेंद्र सिंह, भुवनेश कुमार, राम लखन, अजयपाल, राकेश सिंह, असद अहमद,, राजेंद्र सिंह तोमर, श्यामपाल सिंह, सुशील कुमार सिंह, रवि शर्मा एडवोकेट, महेश चंद्र, एम एच कादरी, महेषा सिंह, नीतू सिंह, प्रीति चौहान, विपर्ण गौड़, गोपाली सिंह, सतेंद्र सिंह, अखिलेश सिंह आदि उपस्थित रहे।

कार्यक्रम में देश भर से बड़ी संख्या में फ़ेसबुक और यूटयूब के माध्यम से उत्क्रष्ट शिक्षकों के साथ ही अन्य लोग जुड़े।

प्रदेश समन्वयक डॉ सुशील कुमार सिंह ने आभार व्यक्त किया। संचालन भारतीय हिंदी सेवी पंचायत के संयोजक व प्रसिद्ध कवि शटवदन शंखधर ने किया।