कुंवरगांव । प्रदेश सरकार भले ही गरीबों को मुफ्त राशन मुहैया करा रही है लेकिन जमीनी स्तर पर बैठे सरकार के सौदागर गरीबों का पेट काटते नजर आ रहे हैं । पिछले दिनों सरकार ने प्रधानमंत्री कल्याण योजना के अंतर्गत निशुल्क खाद्यान्न वैग भरकर घर घर पहुंचाने का कार्य किया था लेकिन गांवों में बैठे कोटेदारों ने सरकार के आदेशों पर पानी फेर दिया ।
ऐसा ही एक मामला सलारपुर ब्लाक क्षेत्र की ग्राम पंचायत असिर्स बरखिन का सामन आया है जहां असिर्स में तैनात कोटेदार अपनी मनमानी पर उतारू है ।जिसके चलते ग्राम पंचायत के मजरा बरखिन के 50 कार्डधारक दूसरे गांव यूसुफ नगर से चार किलोमीटर पैदल चलकर राशन लेने के लिए मजबूर हैं ।बरखिन के कार्डधारकों का कहना है कि असिर्स में कोटेदार के यहां जब भी राशन लेने जाओ तो कोटेदार सत्ता की हनक में दबंगई दिखाता है और दो से चार किलो तक राशन कम देता है और कहीं शिकायत करने पर राशन कार्ड कटवाने की धमकी देता है और कुछ लोगों के मशीन में अंगूठा लगवाकर राशन नहीं देता है । जिससे 50 कार्डधारकों ने अधिकारियों को शिकायत न करके समस्या का स्वयं ही निस्तारण कर लिया और अब वह अपने गांव से चार किलोमीटर दूर पैदल चलकर यूसुफ नगर से राशन ले रहे हैं जिससे उन कार्डधारकों को खासी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है जिन महिलाओं के नाम राशन कार्ड है ।उन्हें भी पैदल चलकर पड़ोसी गांव जाना पड़ता है जिससे उन्हें परेशानी का सामना करना पड़ता है।प्रधानमंत्री की वन नैशन वन कार्ड योजना से खुश हैं कार्ड धारक वन नैशन वन कार्ड योजना के बारे में जब कार्ड धारकों से बात हुई तो उन्होंने कहा मोदी जी की इस योजना से न जाने कितने गरीबो को राशन का लाभ मिल रहा है बरना कितने गरीबो का शोषण कोटेदारों के यहां होता रहता।और गरीब जनता लाभ से बंचित राह जाती।

कार्डधारक जो राशन लेने पड़ोसी गांव जाते है।नीतू,सिपाली,लाडो,मीना,मुन्नी,मुलायम,राममूर्ति,राधा,धनदेवी,सुनीता,रामबाबू,रानी,सोनवती,फूलवती,नन्ही,मीना,राजेस्वरी, वीरबाला, मीनू, सर्वेश ,रामा, शांति ,अनीता ,उमा,नीलम आदि लगभग पचास लोगो पड़ोसी गांव चार किलोमीटर पैदल चलकर जाते है।

इस संबंध पूर्ति निरीक्षक धीरज गुप्ता का कहना है कि इनके खिलाफ पहले भी जांच की गई एक बार इन्हें सुधरने का मौका दिया गया था कार्डधारक दूसरे गांव से राशन ले रहे हैं इसकी जांच कराई जाएगी और शिकायत आती है तो जांच कर दुकान खत्म की जाएगी।